जयप्रकाश एस नायडू
Bhupesh Baghel: छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Chhattisgarh CM Bhupesh Baghel) ने एक बार फिर केंद्रीय एजेंसियों की कार्रवाई को लेकर मोदी सरकार पर निशाना साधा है। बघेल ने तंज कसते हुए कहा कि महाराष्ट्र में एकनाथ शिंदे के मुख्यमंत्री बनते ही वहां राम राज स्थापित हो गया। अब वहां कोई केंद्रीय एजेंसियां जांच के लिए नहीं जाती हैं।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (CM Bhupesh Baghel) ने केंद्र की मोदी सरकार (Modi Government) पर हमलावर होते हुए कहा कि महाराष्ट्र में जब से एकनाथ शिंदे मुख्यमंत्री बने हैं, तब से वहां ईडी, आईटी, सीबीआई, डीआरआई (डायरेक्टोरेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलिजेंस) या एनसीबी के पास कोई काम नहीं है। अब वहां रामराज है और सभी कलाकारों ने वहां गांजे का सेवन करना बंद कर दिया है। उन्होंने कहा कि पहले जब वहां शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस की सरकार थी, तब वहां एनसीबी 10 ग्राम गांजे के लिए लोगों पीछे भागती थी, लेकिन अब वहां कोई नशा नहीं कर रहा है।
छत्तीसगढ़ राज्य विधानसभा को लेकर बात करते हुए बघेल ने कहा कि हमने पिछली बार 68 सीटें जीती थीं और उपचुनावों में यह बढ़कर 71 हो गई। ऐसे में हमारी चुनौती फिर से 71 सीटें जीतने की है। बीजेपी को 15 सीटें मिली थीं, जो घटकर 14 रह गईं। उनकी सीटों की संख्या भी लगभग इतनी ही होगी।
भारत जोड़ो यात्रा को लेकर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री ने कहा कि जब हम विपक्ष में थे और मैं राज्य पार्टी प्रमुख था, हमने पदयात्राएं कीं। इससे हमें जनता से जुड़ने में मदद मिली। वे हमें अपनी समस्याएं बताते थे। बघेल ने कहा कि राहुल गांधी ने अपनी यात्रा के दौरान मूल्य वृद्धि और बेरोजगारी के मुद्दों को उठाए हैं। साथ ही जो समुदाय के बीच दूरियां पैदा की जा रही हैं, उसको समाप्त करने की बात कही है। यात्रा में युवा, महिलाएं, वरिष्ठ नागरिक, खिलाड़ी सभी शामिल हो रहे हैं।
बघेल ने कहा कि मैं शराबबंदी के पक्ष में हूं, लेकिन यह बहुत सारी समस्याएं भी पैदा करता है। उन्होंने कहा कि कोविड लॉकडाउन के दौरान शराब की आपूर्ति पूरी तरह से बंद हो गई, लेकिन पड़ोसी राज्यों से छत्तीसगढ़ में इसकी तस्करी अभी भी हो रही। उन्होंने कहा कि नशे की लत छुड़ाने के लिए सैनिटाइजर और होम्योपैथी सीरप जैसे हानिकारक पदार्थों का सेवन करने से लोगों की मौत हुई।
उन्होंने कहा कि बिहार और गुजरात (जहां शराबबंदी है) में जहरीली शराब पीने से कई लोगों की मौत हो चुकी है। इसलिए, मैं ऐसा प्रतिबंध लागू नहीं करना चाहता, जिससे मौतें हों, लेकिन मैं समाधान मांग रहा हूं और शराब की खपत को कम करने के लिए जनता से सुझाव मांग रहा हूं। बहुत से लोग शराब की लत को खुद ही छोड़ देते हैं, जो शराबबंदी से बेहतर है। यह एक सामाजिक बुराई है और इसे खत्म करने के लिए मुझे लोगों के समर्थन की जरूरत है।
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