Air Purifier: HEPA फिल्टर हवा में मौजूद 99.97% तक सूक्ष्म कणों को हटाने में सक्षम होते हैं, जिनमें धूल, पराग, पालतू जानवरों की रूसी, मोल्ड, बैक्टीरिया और वायरस शामिल हैं. लेकिन HEPA फिल्टर के बिना, एयर प्यूरिफायर्स हवा में मौजूद सभी प्रदूषकों को हटाने में उतने प्रभावी नहीं होते हैं.
HEPA फिल्टर के बिना एयर प्यूरिफायर्स अभी भी कुछ प्रकार के प्रदूषकों को हटा सकते हैं, जैसे:
बड़े धूल के कण: ये धूल के कण 10 माइक्रोमीटर से बड़े होते हैं और इन्हें आंखों से देखा जा सकता है. कुछ एलर्जी: पराग और मोल्ड जैसे एलर्जी 2 से 100 माइक्रोमीटर के आकार के होते हैं. कुछ गंध: कुछ गंध VOCs (वाष्पशील कार्बनिक यौगिक) के कारण होती हैं, जिन्हें एयर प्यूरिफायर्स में सक्रिय चारकोल फिल्टर द्वारा हटाया जा सकता है.
हालांकि, HEPA फिल्टर के बिना, एयर प्यूरिफायर्स छोटे कणों को हटाने में प्रभावी नहीं होंगे, जैसे:
PM2.5: ये बारीक कण 2.5 माइक्रोमीटर से छोटे होते हैं और वायु प्रदूषण का प्रमुख कारण होते हैं. वायरस और बैक्टीरिया: ये सूक्ष्मजीव 0.1 से 5 माइक्रोमीटर के आकार के होते हैं और बीमारी का कारण बन सकते हैं. यदि आप ऐसे क्षेत्र में रहते हैं जहां वायु प्रदूषण या एलर्जी का स्तर ऊंचा है, तो HEPA फिल्टर वाला एयर प्यूरिफायर खरीदना महत्वपूर्ण है.
HEPA फिल्टर आपके घर से हानिकारक प्रदूषकों को हटाने और हवा की गुणवत्ता में सुधार करने में मदद कर सकते हैं, जिससे आपको सांस लेने में आसानी हो सकती है और आपके स्वास्थ्य में सुधार हो सकता है.
यह भी ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि सभी एयर प्यूरिफायर्स समान नहीं बनाए जाते हैं.
एयर प्यूरिफायर खरीदते समय, CADR (क्लीन एयर डिलीवरी रेट) रेटिंग पर ध्यान देना महत्वपूर्ण है. CADR यह मापता है कि एक एयर प्यूरिफायर प्रति घंटे कितनी मात्रा में हवा को साफ कर सकता है.
जितनी अधिक CADR रेटिंग होगी, एयर प्यूरिफायर उतना ही प्रभावी होगा.
अंत में, यह सुनिश्चित करना महत्वपूर्ण है कि आप अपने एयर प्यूरिफायर के फिल्टर को नियमित रूप से बदलें.
जैसे-जैसे फिल्टर गंदे होते जाते हैं, वे कम प्रभावी होते जाते हैं.
अधिकांश HEPA फिल्टर को हर 6-12 महीने में बदलना चाहिए.
+91 120 4319808|9470846577
स्वर्णिम भारत न्यूज़ हिन्दी के एंड्रॉएड ऐप के लिए आप यहां क्लिक कर सकते हैं.