पीटीआई, अहमदाबाद। अहमदाबाद के बाहरी क्षेत्र में स्थित पिराना दरगाह में सूफी संत और उनके स्वजन के सदस्यों की कब्रें तोड़े जाने का मामला सामने आया है। इस घटना के बाद दो समूह आमने-सामने आ गए। इस दौरान झड़प भी हुई। पुलिस ने इस संबंध में 35 लोगों को गिरफ्तार किया है।
पथराव में कई लोग हुए घायल
एक अधिकारी ने बताया कि झड़प के दौरान दोनों ओर से एक दूसरे पर पथराव किया गया। इसमें कुछ लोग घायल हो गए। पिराना दरगाह का प्रबंधन इमामशाह बावा रोजा न्यास द्वारा किया जाता है जो हिंदू-मुस्लिम सौहार्द का प्रतीक रहा है। इसके न्यासी दोनों समुदायों के सदस्य हैं।
पुलिस अधीक्षक ने क्या कहा?
पुलिस अधीक्षक ओमप्रकाश जाट ने कहा कि कुछ मतभेदों के चलते एक न्यासी ने मंगलवार रात पिराना दरगाह में सूफी संत इमामशाह बावा और उनके स्वजनों की कब्रें तोड़ दीं। इसके बाद दोनों समुदायों के सदस्यों ने एक-दूसरे पर पत्थर फेंके। मामला सामने आने पर मंगलवार देर रात दोनों समुदाय के लोग बड़ी संख्या में दरगाह स्थल पर एकत्र हो गए।
स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पुलिस की एक टीम भी मौके पर पहुंची। लेकिन दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर पथराव शुरू कर दिया। इस दौरान पुलिसकर्मियों सहित कुछ लोग घायल हो गए। इस मामले में 35 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
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