Tired after lunch- दोपहर के खाने के बाद क्यों होती है थकान? न्यूट्रिशन एक्सपर्ट से जानें कारण और समाधान

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दोपहर के भोजन का समय बीत चुका है और आपका ऑफिस खत्म होने में अभी भी कई घंटे बाकी है लेकिन आपको कमजोरी जैसा महसूस हो रहा है, हल्की-हल्की नींद भी आ रही है. ये बात हर उस इंसान की वर्कलाइफ की सच्चाई है जो ऑफिस जाता है. कैलिफ़ोर्निया के डेविस में स्थित न्यूट्रिशनिस्ट डॉ. क्रिस्टोफर रोड्स ने बाल ही में एक इंटरव्यू के दौरान बताया, 'जब किसी को दोपहर में थकान महसूस होती है तो वह कॉफी अधिक पीने लगता है ताकि कमजोर महसूस न हो लेकिन ऐसा करने से शरीर में कैफीन की मात्रा बढ़ जाती है जिससे आपको रात में नींद नहीं आएगी.' डॉ. क्रिस्टोफर ने ऐसे कुछ तरीके बताए हैं जो दोपहर के समय कमजोरी महसूस होने से बचा सकते हैं.

1. भर पेट न खाएं

रोड्स ने कहा, 'जब मौका मिले तब कुछ ना कुछ खाते रहने से नींद आ सकती है और ब्लड शुगर भी अनावश्यक रूप से बढ़ सकती है. दरअसल, छोटे स्नैक्स अक्सर हमारी भूख नहीं मिटाते यानी जिसका अर्थ है आप जो खा रहे हैं, उससे टेस्ट तो आ जाएगा लेकिन पेट की भूख नहीं मिटेगी. बहुत सारे ऐसे स्नैक्स भी हैं जिनमें कुछ ऐसे इंग्रेडिएंट डाले जाते हैं जो आपको अधिक खाने के लिए फोर्स करते हैं. इसलिए छोटी-छोटी मील्स लेने से बचें.'

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2. अधिक चीनी वाली चीजों से बचें

रोड्स ने कहा, 'आपको पूरे दिन अपने ग्लूकोज को नियंत्रित रखने की पूरी कोशिश करनी चाहिए. ग्लूकोज, जो चीनी का सबसे सरल रूप है क्योंकि आप जो मीठा खाते हैं, हमारा शरीर उसे ग्लूकोज के रूप में ही स्टोर करता है और फिर एनर्जी देता है. अगर आपका ग्लूकोज लेवल हाई रहेगा तो भी आपको कमजोरी थकान जैसा महसूस हो सकती है. इसलिए एक्सपर्ट कहते हैं कि ब्लड ग्लूकोज ना अधिक होना चाहिए और ना ही कम. बैलेंस रहना चाहिए.

3. कॉफी बंद करें

रोड्स के अनुसार नींद आने पर लोग कॉफी पीते हैं और ऐसा करने से बचना चाहिए. दरअसल, कॉफी में चीनी मिलाकर पीने से ग्लूकोज बढ़ जाता है और उससे क्या होता है, यह आप ऊपर के प्वाइंट में पढ़ चुके हैं. चीनी की तरह कैफीन भी तुरंत एनर्जी तो देता है लेकिन कुछ घंटों में ही सुस्ती का कारण बन सकता है. इसलिए कॉफी की अपेक्षा ग्रीन टी पी सकते हैं क्योंकि इसमें कैफीन तो होता है, लेकिन एंटी-ऑक्सीडेंट और एल-थेनाइन जैसे अन्य कंपाउंड भी होते हैं. एल-थेनाइन एक एमिनो एसिड है, जिसके बारे में कहा जाता है कि यह स्ट्रेस, इम्सोम्निया और एंग्जाइटी को कम करने में मदद करता है.

4. पौष्टिकvलंच करें

रोड्स ने सलाह दी कि अपने दोपहर के भोजन को कम कार्ब वाला बनाएं और इसमें प्रोटीन और सब्जियां शामिल करें. कार्बोहाइड्रेट से आपको तुरंत एनर्जी मिलेगी और वह ग्लूकोज स्पाइक्स का कारण बन सकते हैं. इसलिए हमेशा अपने लंच को पौष्टिक बनाएं जिसमें सारी चीजें शामिल हों. इसलिए सिर्फ हाई कार्ब वाली नहीं बल्कि प्रोटीन, फैट, फाइबर और कार्ब वाला बैलेंस खाना खाएं.

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मनोज शर्मा

मनोज शर्मा (जन्म 1968) स्वर्णिम भारत के संस्थापक-प्रकाशक , प्रधान संपादक और मेन्टम सॉफ्टवेयर प्राइवेट लिमिटेड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी हैं।

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